घर पर बुलाकर DPO करता था महिला से दुष्कर्म, DM ने कराई कार्यवाही

घर पर बुलाकर DPO करता था महिला से दुष्कर्म, DM ने कराई कार्यवाही

Mar 30, 2025 - 11:31
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घर पर बुलाकर DPO करता था महिला से दुष्कर्म, DM ने कराई कार्यवाही

कुशीनगर। जिला कार्यक्रम अधिकारी (डीपीओ) पर एक निजी कंपनी की महिला कर्मी के यौन उत्पीड़न का मामला सामने आया है। डीएम ने डीपीओ के खिलाफ कार्रवाई के लिए शासन को पत्र लिखा है। इससे पूर्व कंपनी की ओर से मिली शिकायत के आधार पर जिलाधिकारी ने प्रोबेशन अधिकारी की अध्यक्षता में जांच के लिए टीम का गठन किया था। जांच में महिला की ओर से लगाए गए आरोप सही पाए गए, जिसके बाद शासन को पत्र भेजा गया।

तमकुहीराज तहसील में करीब आठ माह पूर्व बाल विकास पुष्टाहार विभाग की ओर से एक कार्यक्रम हुआ था। इसमें खाना आपूर्ति करने वाली एक निजी कंपनी ने जिला प्रशासन के सहयोग से 20 आंगनबाड़ी केंद्रों को मॉडल बनाने के लिए गोद लिया था। कंपनी की ओर से एक महिला कर्मचारी की नियुक्ति की गई थी। वह डीपीओ शैलेंद्र कुमार राय के सुपरविजन में कार्य कर रही थी। आरोप है कि डीपीओ अपने आवास और कार्यालय पर बुलाकर महिला का यौन उत्पीड़न करते थे। विरोध करने पर कंपनी को पत्र लिखकर नौकरी से निकलवाने की धमकी देते थे। महिला ने तंग आकर अपनी कंपनी के अधिकारियों से डीपीओ की करतूत को बताया। कंपनी की ओर से 31 जनवरी 2025 को डीएम कुशीनगर को महिला के आरोप के आधार पर पत्र भेजकर जांच कराने की मांग की गई। डीएम ने मामले को गंभीरता से लेते हुए जिला प्रोबेशन अधिकारी की अध्यक्षता में एक टीम गठित कर जांच का निर्देश दिया।

टीम की ओर से की गई जांच में महिला की ओर से लगाए गए आरोप की पुष्टि हुई और जांच रिपोर्ट डीएम को सौंप दी गई। टीम में शामिल सदस्यों को महिला ने बताया कि शिकायत नहीं करने के लिए डीपीओ लगातार फोन कर दबाव बनाने के साथ तरह-तरह की बातें कर मानसिक उत्पीड़न कर रहे थे। जांच रिपोर्ट के आधार पर डीएम ने डीपीओ के खिलाफ शासन को पत्र लिखा है। एक कंपनी की महिला कर्मी ने डीपीओ पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया था। कंपनी की ओर से पत्र आया था। उस आधार पर जांच के लिए एक टीम गठित की गई थी। जांच रिपोर्ट में महिला का आरोप सही पाया गया। डीपीओ के खिलाफ शासन को कार्रवाई के लिए पत्र लिखा गया है। मऊ जनपद के रहने वाले डीपीओ की तैनाती काफी दिनों से यहां है। वर्ष 2022 में खड्डा क्षेत्र की एक आंगनबाड़ी कार्यकर्ता ने डीपीओ पर दुष्कर्म का आरोप लगाया था। उस समय मामला काफी चर्चा में आया तो जांच के बाद रविंद्र नगर थाने में दुष्कर्म का केस दर्ज किया गया था।

सूत्रों की मानें तो शासन में मजबूत पैठ के कारण डीपीओ पर आरोप लगने के बाद भी विभागीय कार्रवाई नहीं होती है। जिस कंपनी की ओर से महिला कर्मी को तैनात किया गया था, उसके द्वारा लगाया गया आरोप निराधार है। जिला प्रोबेशन अधिकारी के नेतृत्व में टीम ने जांच की है और संभावना के आधार पर रिपोर्ट बनाकर सौंपी है, वह गलत है। जांच रिपोर्ट में तोड़-मरोड़कर तथ्यों को पेश किया गया है। जिला प्रोबेशन अधिकारी ने गलत किया है, इनको लीगल नोटिस दिया है।