हिंदी जीवन जीने की सिखाती है कला

Sep 15, 2024 - 19:29
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हिंदी जीवन जीने की सिखाती है कला
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हिंदी जीवन जीने की सिखाती है कला

फर्रुखाबाद। सीपी इंटरनेशनल स्कूल फर्रुखाबाद में आज हिंदी दिवस के अवसर पर कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम के दौरान हिंदी शिक्षकों ने अपने-अपने विचार व्यक्त किया । निर्देशिका डॉ मिथिलेश अग्रवाल ने अपने संदेश में सभी को हिंदी दिवस की बधाई दी। उपनिदेशिका श्रीमती अंजू राजे ने कहा दूसरी भाषाएं तो संपर्क की भाषाएं हैं परंतु हिंदी जीवन जीने की कला सिखाती है।

प्रधानाचार्य संजय बिष्ट ने बताया कि किसी भी भाषा को पढ़ना अच्छी बात है परंतु अपनी राजभाषा हिंदी का समुचित ज्ञान होना आवश्यक है क्योंकि हिंदी व्यवहारिक भाषा है। हेड मिस्ट्रेस संदीपा कुमार ने सभी का आभार व्यक्त किया तथा हिंदी दिवस की बधाई दी। हिंदी प्रवक्ता शिवानी मिश्रा ने ‘ अंधा राजा सभा है बहरी किसे सुनाए पीर।’ कविता के माध्यम से हिंदी की दशा को प्रस्तुत किया।

कविता त्रिपाठी ने बताया कि केवल सभा ऑन और आयोजनों से काम नहीं चलेगा बल्कि हिंदी भाषा को समस्त कार्यों में क्रियान्वयन करना पड़ेगा। श्रवण कुमार मिश्रा ने भारत की परिभाषा हिन्दी कविता के माध्यम से हिंदी की विशेषताओं का वर्णन किया। नंदिता जैन ने आने वाले समय में हिंदी ही राष्ट्र भाषा होनी चाहिए नामक कविता प्रस्तुत की। संगीता मिश्रा ने हिंदी भाषा पर प्रकाश डालते हुए बताया अपनी भाषा से ही वास्तविक विकास संभव है । इसके अलावा प्रीती दीक्षित, दीक्षा तिवारी सहित सभी शिक्षक उपस्थित रहे।