आशा/आशा संगिनी के मानदेय/वेतन की समस्या का समाधान के लिए लखनऊ प्रेस क्लब में प्रेसवार्ता

Aug 12, 2024 - 08:40
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आशा/आशा संगिनी के मानदेय/वेतन की समस्या का समाधान के लिए लखनऊ प्रेस क्लब में प्रेसवार्ता
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लखनऊ। प्रेस क्लब में प्रेस वार्ता की गयी। इसकी अध्यक्षता राष्ट्रीय अध्यक्ष चन्दा यादव, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष संगीता गिरी जी, राष्ट्रीय संरक्षक राजेश शर्मा जी, प्रदेश अध्यक्ष मनीषा यादव सभी के नेतृत्व में हुआ।

आशा एवं आशा रांगिनी की कार्य एवं प्रोत्साहन राशि की समस्या को लेकर एक प्रेसवार्ता रखी गई। जिसमें सारे पदाधिकारीगण उपस्थित रहे। सरकार एवं स्वास्थ्य विभाग की कार्य का सारी योजना का कार्य हो चुका लेकिन हम आशा/आशा संगिनी के मानदेय/वेतन की समस्या का समाधान के लिए सरकार द्वारा कोई पहल नहीं की गयी।

इस समस्या को लेकर स्वास्थ्य विभाग को एवं सरकार को कई बार ज्ञापन दिया गया, धरना प्रदर्शन के माध्यम से अपनी बात रखा गया लेकिन आजतक इस पर कोई पहल नहीं हुई। इसलिए हम लोग आज समस्त उत्तर प्रदेश की आशा बहनें दुःख प्रकट कर रहे हैं और प्रेसवार्ता के माध्यम से सरकार एवं स्वास्थ्य विभाग को एक सूचना दी जा रही है जो हमारी प्रमुख समस्या एवं मांग निम्नवत हैः- 2005 में समस्त आशाओं का चयन हुआ 2006 से हम अपने कार्य को करते रहे। गर्भवती महिलाओं को अस्पताल तक पहुंचाना। बच्चों एवं गर्भवती मां का टीकाकरण कराना।

सुरक्षित प्रसव कराना। जन्म, मृत्यु में अन्तर लाना केवल इन्हीं कार्यों की जिम्मेदारी हम आशा बहुओं को दी गयी थी। इसके बाद जितनी योजना आती गयी चाहें किसी विभाग का हो सारे कार्यों को कई वर्षों से आशा बहनों से काराया जा रहा है। उसके एवज में कोई मानदेय / वेतन एवं प्रोत्साहन राशि नहीं दिया जा रहा है उनसे सारे कार्य को बिना प्रोत्साहन राशि के कराया जाता है।

जैसे गोल्डन कार्ड, आयुष्मान कार्ड, आभा आईडी, दस्तक संचारी रोग एवं कई योजना में आशा कार्य कर रही है उनको कई प्रोत्साहन राशि नहीं दी जा रही है। पल्स पोलियो अभियान जिसमें मात्र 75 रूपये दिया जाता है। आज मंहगाई चरम सीमा पर है इस मंहगाई में इतने कम पैसे में कौन अपना परिवार चला पायेगा हम आशा और आशा संगिनी बहनों का शोषण किया जा रहा है। जो आशा बहनें कम पढ़ी लिखी हैं क्या स्मार्ट फोन चलाना सम्भव है, आशा आईडी, ई कवच, फैमिली परिवार नियोजन, सारे कार्य को मोबाइल से आनलाइन कराया जा रहा है।

 जो बहनें कार्य नहीं कर पा रही हैं उनको लेटर देने और निकालने की धमकियां दी जा रही हैं कि कार्य नहीं करेगी तो आपको निकाल दिया जायेगा और आपके एरिया में नया चयन किया जायेगा तमाम आशा बहनों का नया चयन करने के लिए धमकियां दी जा रही हैं हम आशा और आशा संगिनी को आजतक कभी 30 दिन की ट्रेनिंग अच्छे ढंग से नहीं दी गयी। ठेके पर काम चलाया जा रहा है 10 दिन, हफ्ते दिन, पांच दिन यही ट्रेनिंग दी जाती है इतने दिन में किसको अच्छी ट्रेनिंग मिलेगी। हम आशा के भविष्य में शुरूआत में ही अंधकार दे दिया गया हम कभी अपने भविष्य उज्जवल न बना सके आज आशा बहनों की कितनी उम्र बीत चुकी उनको आजतक कोई सुविधा नहीं मिली। अब सरकार उम्र का बाउन्डेसन लगा रही है इसमें हमको वरीयता मिलनी चाहिए।

सरकार एवं स्वास्थ्य विभाग को ये सूचना अवगत कराना चाहते हैं कि जिस कार्य का मानदेय वेतन एवं प्रोत्साहन राशि नहीं दी जायेगी वह कार्य पूरे उत्तर प्रदेश की आशा बहनें नहीं करेंगी। अब हम कोई दबाव एवं धमकी नहीं सहेंगे शोषण को बन्द करें। प्रधानमंत्री मातृव बंदन योजना को आंगनबाड़ी विभाग को सरकार द्वारा दे दिया गया, हम आशाओं के साथ सौतेला व्यवहार किया गया इसके लिए हम आन्दोलन के लिए बाध्य होंगे।

सरकार हमारी मांगों पर अगर तत्काल विचार नहीं करेगी तो हम सडक पर उतरकर आन्दोलन के लिए बाध्य होंगे। मनीषा यादव मण्डल अध्यक्ष, रामश्री गंगवार जिलाध्यक्ष, पप्पी तिवारी महासचिव, उर्मिला सिंह प्रदेश कोषाध्यक्ष, हीरामती, गीता देवी, मनीषा देवी, रीता देवी, निलेश पाण्डेय, अंशु गौड़, अनीता भारवाज, रेशमा बानो, मोनी गुप्ता, संगीता देवी, अनीता देवी, किरन सिंह, हीरामनी।

लखनऊ से अशोक कुमार कनौजिया