RBI के आदेश के बाद आपके पेटीएम वॉलेट, फास्टैग का क्या होगा? स्टॉक, म्यूचुअल फंड सेवाओं का क्या होगा?

Feb 1, 2024 - 21:02
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RBI के आदेश के बाद आपके पेटीएम वॉलेट, फास्टैग का क्या होगा? स्टॉक, म्यूचुअल फंड सेवाओं का क्या होगा?
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आरबीआई ने मार्च से पेटीएम पेमेंट्स बैंक के जरिए से दी जाने वाली सेवाओं पर रोक लगा दी है।

जबकि पैसे ट्रांसफर करने और उसकी निकासी की अनुमति है। अगर आप पेटीएम यूजर हैं तो 29 फरवरी के बाद अपने वॉलेट या फास्टैग को टॉप-अप नहीं कर पाएंगे, या किसी खाते में पैसे जमा नहीं कर पाएंगे। पेटीएम के खिलाफ आरबीआई की इस कार्रवाई का यूजर पर क्या होगा असर, आइए विस्तार से समझें...

क्या Paytm से UPI पेमेंट हो पाएगा ? आरबीआई के कदमों से की कार्वाई से उन लोगों पर असर पड़ने के आसार हैं, जिन्होंने यूपीआई को अपने पेटीएम पेमेंट्स बैंक खाते से लिंक किया है। पेटीएम पेमेंट्स बैंक खाते में 29 फरवरी तक पैसा ट्रांसफर किया जा सकता है।

यदि आपका UPI एड्रेस SBI, या ICICI बैंक जैसे अन्य बैंक खातों से जुड़ा हुआ है तो RBI की कार्रवाई का कोई असर आप पर नहीं पड़ेगा। क्या मर्चेंट पेटीएम से भुगतान लें सकेंगे? वे मर्चेंट जो पेटीएम पेमेंट्स बैंक खाते में पैसा रिसीव करते हैं, वे पेमेंट एसेप्ट नहीं कर पाएंगे, क्योंकि इन खातों में नए क्रेडिट की अनुमति नहीं होगी। हालांकि, उनमें से कई के पास अन्य कंपनियों के क्यूआर स्टिकर हैं, जिससे उन्हें डिजिटल पेमेंट स्वीकार करना जारी रख सकेंगे।

आपके वॉलेट में बचे पैसे का क्या होगा: इसका सबसे अच्छा विकल्प वॉलेट बैलेंस को वापस अपने बैंक खाते में ट्रांसफर करना है। आप वॉलेट में बचे हुए पैसे को समाप्त होने तक बिजली या फोन बिल का भुगतान करके भी उसका सदुपयोग कर सकते हैं। फूड और फ्यूल जैसे सब-वॉलेट का क्या होगा?

आरबीआई ने पेटीएम को महानगरों में उपयोग किए जाने वाले एनसीएमसी (नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड) और फूड, फ्यूल वॉलेट सहित किसी भी प्रीपेड के तौर पर पैसे स्वीकार करने से रोक दिया है। जबकि, मौजूदा शेष राशि का उपयोग किया जा सकता है। 29 फरवरी के बाद कोई नया फंड नहीं एड किया जा सकता है। अगर आपके पास पेटीएम द्वारा जारी फास्टैग है तो क्या होगा?

पेटीएम फास्टैग यूजर्स को एक नया टैग खरीदना चाहिए और मौजूदा को निष्क्रिय कर देना चाहिए। पेटीएम के जरिए लिए गए लोन का क्या होगा: लोन लेने वालों को अपना पेमेंट जारी रखना होगा, क्योंकि ये लोन तीसरे पक्ष के ऋणदाताओं द्वारा दिए गए हैं, न कि पेटीएम के द्वारा।

किस्त चुकाने में चूक या किसी भी देरी से उनके क्रेडिट स्कोर पर असर पड़ेगा। स्टॉक, म्यूचुअल फंड सेवाओं का क्या होगा? ये सेवाएं सेबी द्वारा रेगुलाइज्ड हैं और आरबीआई के आदेश के अंतर्गत नहीं आती हैं। अभी यह स्पष्ट नहीं है कि आरबीआई की कार्रवाई के बाद सेबी समीक्षा करेगा या नहीं।