UP Police Constable Exam 2024: सॉल्वर गैंग - मुन्ना भाई और दूसरे की जगह पर एग्जाम,अब तक 244 गिरफ्तार
UP Police Constable Exam 2024: यूपी पुलिस में सिपाही के पदों के लिए भर्ती परीक्षा (UP Police Constable Recruitment Exam) 18 फरवरी को सम्पन्न हो गई है।
अभ्यर्थियों की संख्या को देखते हुए परीक्षा का आयोजन 17 और 18 फरवरी यानी दो दिन किया गया था। किसी तरह की गड़बड़ी न हो, इसके लिए सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे. तो वहीं परीक्षा के दूसरे दिन पेपर लीक की खबरें भी सोशल मीडिया पर वायरल हुई. हालांकि उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड (UPPPRB) ने इसका खंडन किया और जांच कराने की बात कही तो वहीं इस दौरान गड़बड़ी करने वाले 244 लोग गिरफ्तार किए गए।
कड़े पहरे के बीच हुई पुलिस परीक्षा में शातिर सेंध लगाने के दौरान पकड़े गए. बता दें कि UP Police कॉन्स्टेबल की 60244 रिक्तियों के लिए 17 और 18 फरवरी 2024 को दो पाली में परीक्षा का आयोजन किया गया था. इस भर्ती परीक्षा में 48 लाख से ज्यादा उम्मीदवारों ने परीक्षा दी. परीक्षार्थियों की इतनी बड़ी संख्या के मद्देनजर प्रदेश के सभी 75 जिलों में 2385 परीक्षा केंद्र बनाए गए थे।
इस दौरान कोई दूसरे की जगह बैठकर परीक्षा दे रहा था, तो कहीं कोई सॉल्वर गैंग पकड़ा गया।
तो इसी के साथ ही सोशल मीडिया पर पेपर लीक की खबर ने तो सभी के होश ही उड़ा दिए. इसको लेकर सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने योगी सरकार पर निशाना साधा है और कहा कि पुलिस भर्ती परीक्षा 2024 के सभी सत्रों का पेपर लीक होने की न्यूज सोशल मीडिया पर स्क्रीनशॉट के साथ फैल रही है, जिससे लाखों बेरोजगार युवाओं में आक्रोश का माहौल है। बलिया और गोंडा से शातिर गिरफ्तार मीडिया सूत्रों के मुताबिक, पुलिस भर्ती परीक्षा के दूसरे दिन यानी रविवार को बलिया जिले में चल रही पुलिस कॉन्स्टेबल भर्ती परीक्षा में कथित धोखाधड़ी के आरोप में पुलिस ने 14 लोगों को गिरफ्तार किया है।
इसमें एक वन विभाग और एक स्वास्थ्य विभाग का तकनीशियन सहित तीन गिरोहों के 11 सदस्य और तीन लोग कथित तौर पर परीक्षा में अभ्यर्थी के रूप में शामिल थे. इस सम्बंध में बलिया के पुलिस अधीक्षक देव रंजन वर्मा ने मीडिया को बताया कि, पुलिस ने तीन गिरोहों का भंडाफोड़ किया है जो पुलिस कॉन्स्टेबल भर्ती परीक्षा को बाधित करने की कोशिश कर रहे थे।
पुलिस ने 14 लोगों को गिरफ्तार किया है. उन्होंने जानकारी दी कि, गिरफ्तार किए गए लोगों में सुल्तानपुर जिले में स्वास्थ्य विभाग में एक लैब तकनीशियन अभय कुमार श्रीवास्तव और मध्य प्रदेश के कटनी जिले में वन विभाग में एक कांस्टेबल फतेहबहादुर राजभर शामिल है. उन्होंने ये भी बताया कि पुलिस ने तीन लोगों को भी गिरफ्तार किया है, जो कथित तौर पर पंजीकृत उम्मीदवारों के स्थान पर परीक्षा दे रहे थे. तो वहीं गोंडा से 3 लोगों को गिरफ्तार किया गया।
गोंडा के पुलिस अधीक्षक विनीत जयसवाल ने मीडिया को जानकारी दी कि बिहार के नालंदा जिले के निवासी कुंदन कुमार चौधरी को स्थानीय पुलिस की मदद से शनिवार शाम को नवाबगंज शहर के एक परीक्षा केंद्र से गिरफ्तार किया गया. उन्होंने आगे बताया कि, वह जिले के मनकापुर थाना क्षेत्र के रहने वाले तन्मय सिंह की जगह परीक्षा दे रहा था. तन्मय और हरेंद्र कुमार, दोनों ने कॉन्स्टेबल भर्ती प्रक्रिया के लिए आवेदन किया था, रविवार को उनको गिरफ्तार कर लिया गया है।
6 लाख का हुआ था सौदा पुलिस अधीक्षक विनीत जयसवाल ने ने आगे बताया कि, कुंदन कुमार चौधरी और दोनों प्रत्याशियों के बीच छह लाख रुपये में सौदा तय हुआ था. शनिवार को वह दूसरी पाली में नवाबगंज के एक परीक्षा केंद्र पर तन्मय की जगह परीक्षा दे रहा था और रविवार को गोंडा शहर के एक अन्य केंद्र पर उसे हरेंद्र की जगह परीक्षा देनी थी. फिलहाल इस मामले में तीनों के खिलाफ नवाबगंज थाने में मामला दर्ज कर आगे की कार्रवाई शुरू कर दी गई है।
मालूम हो कि परीक्षा के पहले दिन यानी शनिवार को पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) प्रशांत कुमार ने जानकारी दी थी कि, अभी तक कुल 122 लोग गिरफ्तार किए गए 15+2 एटा, मऊ, प्रयागराज, सिद्धार्थनगर, गाजीपुर, आज़मगढ़, गोरखपुर, जौनपुर, फिरोजाबाद, कौशाम्बी, हाथरस, झांसी, वाराणसी, आगरा, कानपुर, बलिया, देवरिया और बिजनौर से ये गिरफ्तारी हुई है. तो वहीं रविवार तक 244 लोगों की गिरफ्तारी की गई. दो दिन की परीक्षा में इतने लोग किए गए गिरफ्तार बता दें कि 17 और 18 फरवरी को होने वाली पुलिस भर्ती परीक्षा में पुलिस ने प्रदेश के तमाम परीक्षा केंद्रों से 244 लोगों को गिरफ्तार किया या फिर हिरासत में लिया।
इस सम्बंध में राज्य पुलिस मुख्यालय द्वारा बयान जारी कर बताया गया है कि, ये गिरफ्तारियां या हिरासत 15 फरवरी से 18 फरवरी शाम 6 बजे तक की गईं. ये गिरफ्तारियां और हिरासतें स्थानीय खुफिया जानकारी की मदद से जिला पुलिस और स्पेश और स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) की इकाइयों द्वारा की गईं. तो वहीं रविवार को डीजीपी प्रशांत कुमार ने मीडिया को बताया कि, "गिरफ्तार या हिरासत में लिए गए आरोपियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर उनसे पूछताछ की जा रही है।